5 Simple Statements About shiv chalisa lyricsl Explained
5 Simple Statements About shiv chalisa lyricsl Explained
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वस्त्र खाल बाघम्बर सोहे। छवि को देखि नाग मन मोहे॥
मैना मातु की ह्वै दुलारी। बाम अंग सोहत छवि न्यारी॥
दुष्ट सकल नित मोहि सतावै। भ्रमत रहौं मोहि चैन न आवै॥
O Lord, Purari, you saved all Deities and mankind by defeating and destroying the demons Tripurasur. You blessed your devotee Bhagirath and he was in a position to perform his Vow right after rigorous penance.
पूजन रामचंद्र जब कीन्हा। जीत के लंक विभीषण दीन्हा॥
पण्डित त्रयोदशी को लावे। ध्यान पूर्वक होम करावे॥
दुष्ट सकल नित मोहि सतावै। भ्रमत रहौं मोहि चैन न आवै॥
कार्तिक श्याम और गणराऊ। या छवि को कहि जात न काऊ॥
श्रीरामचरितमानस धर्म संग्रह धर्म-संसार एकादशी
सबहिं कृपा कर लीन बचाई ॥ किया तपहिं भागीरथ भारी ।
श्रावण मास विशेष : शिव बिल्वाष्टकम् का पाठ,देगा मनचाहा लाभ
स्तुति चालीसा शिवहि, पूर्ण कीन कल्याण॥
त्रयोदशी ब्रत करे shiv chalisa lyricsl हमेशा। तन नहीं ताके रहे कलेशा॥
नमो नमो जय नमः शिवाय। सुर ब्रह्मादिक पार न पाय॥